तुम्हारे समुद्र की लहरें
तुम्हारे समुद्र की लहरें
मुझे बुलाती हैं बार बार
मैं एक नन्हा आकाश
तुम्हारे समुद्र की लहरों से मिल कर
दीवाना बन गया हूँ अब
बूँद बूँद पर लिखता हूँ तुम्हारा नाम
तुम्हारे समुद्र की लहरें
रात - दिन तकती हैं मुझे
ये बलखाती लहरें
रात - दिन डसती हैं मुझे
इन लहरों से उठ कर
मेरे तसव्वुर में
तुम्हारी भीगी आँखें उभर आती हैं
सीने में एक लहर डूब डूब जाती है
समेट लेती है अपनी पलकों में मेरे आँसू
आज फिर रीत गया हूँ
तुम्हारी बूँदों में भीग गया हूँ
तुम अभी अपने दिल से पूछोगी
मैं अभी तुम्हारा हो जाऊंगा
जन्म जन्म के लिए
तुम भी मेरी हो जाओगी
हमारे तन इस जन्म में मिले न मिले
मुरझाये हुए फूल खिले न खिले
हम फिर मिलेंगे कभी न बिछड़ने के लिए
हर लहर पर लफ़्ज़े मुहब्बत लिखने के लिए।
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