प्रेम -प्रसंग
आज तुम याद आये
हाँ , तुम याद आये
बिलकुल वैसे ही
जैसा तुम्हें कभी देखा था
आँखों में वही मस्ती
लबों में वही मिठास
वैसी ही ख़ुश्बू भरी साँस
वही काला तिल
मुहब्बत भरा दिल
बिलकुल वैसे ही मुझे मिले
जैसा कभी मुझसे बिछड़े थे।
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